राष्ट्र कवियत्री ःसुभद्रा कुमारी चौहान की रचनाएँ ःपरिचय
सुभद्रा कुमारी चौहान
संक्षिप्त परिचय
सुभद्रा कुमारी चौहान (१६ अगस्त १९०४-१५ फरवरी१९४८) का जन्म नागपंचमी के दिन इलाहाबाद के निकट निहालपुर नामक गांव में रामनाथसिंह के जमींदार परिवार में हुआ था। वह हिन्दी की सुप्रसिद्ध कवयित्री, लेखिका और स्वतंत्रता सेनानी थीं। उनके दो कविता संग्रह तथा तीन कथा संग्रह प्रकाशित हुए पर उनकी प्रसिद्धि झाँसी की रानी कविता के कारण है। उनके काव्यसंग्रह हैं: मुकुल और त्रिधारा । उनके कहानी संग्रह हैं: बिखरे मोती-१९३२ (१५ कहानियाँ), उन्मादिनी-१९३४ (९ कहानियाँ), सीधे साधे चित्र-१९४७ (१४ कहानियाँ)। सुभद्रा कुमारी चौहान ने कुल ४६ कहानियां लिखी।